
कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहे किसानों का आंदोलन फिलहाल बिखरा हुआ है। कुछेक संगठनों ने जहां आंदोलन से अपने कदम पीछे खींच लिए हैं, तो वहीं कई किसान अभी भी दिल्ली बॉर्डर समेत अन्य टोल बैरियरों व धरना स्थलों पर महिलाओं, बच्चों समेत डटे हुए हैं। ऐसे में किसानों के इस आंदोलन को दबाव के साथ दबाने की तैयारी अब शुरू हो गई है। मगर किसान आंदोलन की अगली पारी के लिए रणनीति बनाने की बात कर रहे हैं
गणतंत्र दिवस पर किसानों की ट्रैक्टर परेड रैली की आड़ में असामाजिक तत्वों ने दिल्ली में जो उत्पात मचाया, उसके बाद केंद्र के साथ-साथ हरियाणा का गृह मंत्रालय भी पूरी तरह से सतर्क है। इस घटना के बाद हरियाणा में लॉ एंड आर्डर की स्थिति न बिगड़े, इसके लिए सभी जिला पुलिस अधीक्षकों को निर्देश जारी हो चुके हैं।
जिन जिलों के टोल बैरियरों पर किसान संगठनों के सदस्य धरने-प्रदर्शनों पर बैठे हैं, वहां भी डीसी समेत अन्य प्रशासनिक व पुलिस के अफसर पहुंचकर उनसे टोल से हटने की अपील की जा रही है। प्रदेश के कुछ टोल बैरियर पर जिला प्रशासन और पुलिस ने किसानों को समझा-बुझाकर धरने खत्म करवा दिए हैं। मगर कई जगह किसान पीछे हटने को तैयार नहीं हैं।
दबाव का जवाब देने को तैयार किसान
किसान नेताओं के अनुसार सरकार इस वक्त पुलिस फोर्स के माध्यम से विभिन्न जगहों पर चल रहे धरने-प्रदर्शनों पर दबाव की रणनीति अपना रही है। उनका कहना है कि धरने पर शांतिपूर्वक बैठे किसानों को उठकर जाने के लिए कहा जा रहा है, मगर ऐसा नहीं होने दिया जाएगा। किसानों के अनुसार वे लोग प्रशासन के इस दबाव का जवाब भी अपने शांतिपूर्ण धरने से ही देंगे।
मौजूदा स्थिति देखें तो पानीपत में जहां दोनों टोल बैरियरों से धरने खत्म करवा दिए गए हैं, तो वहीं करनाल में प्रदर्शन स्थगित करने के एक दिन बाद ही किसानों ने वीरवार को फिर से दोनों टोल बैरियरों पर धरना जमा दिया है। कैथल में किसान किसी कीमत पर पीछे हटने को तैयार नहीं है। कैथल में किसानों ने वीरवार को उस युवा किसान के शव की यात्रा भी इलाके में निकाली, जिसकी मौत दिल्ली आंदोलन से लौटते वक्त सड़क हादसे में हो गई थी। यमुनानगर और कुरुक्षेत्र में भी किसान आंदोलन से पीछे नहीं हट रहे हैं। जबकि अंबाला में भी किसानों ने शंभू टोल बैरियर को खाली नहीं किया है।
जल्द पंजाब पहुंचने की बेताबी
वीरवार को भी काफी संख्या में किसानों का जत्था तेजी से पंजाब की ओर वापस जा रहा है। दिल्ली की ओर से आने वाले किसान बड़ी संख्या में ट्रैक्टरों के साथ वाया हरियाणा पंजाब के विभिन्न जिलों में लौट रहे हैं। किसानों की इस वापसी को लेकर भी हरियाणा पुलिस पूरी तरह सतर्क है। इस वापसी के दौरान किसी प्रकार की कोई गड़बड़ी न हो, इसके लिए हरियाणा पुलिस ने मुख्यमार्गों पर पेट्रोलिंग फोर्स तैनात कर दी है। मगर दूसरी ओर, बहुत से किसान अभी भी सिंघु बॉर्डर, टीकरी बॉर्डर, गाजीपुर बॉर्डर समेत दिल्ली की अन्य सीमाओं को छोड़ने को तैयार नहीं है। ऐसे में स्थानीय पुलिस प्रशासन की ओर से वहां भी पुलिस फोर्स तैनात कर उनसे भी वापस लौटने की अपील कर रहा है।
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