जिस व्यक्ति की हथेली में शनि पर्वत पर त्रिभुज का निशान बना होता है | वह बहुत ही भाग्यशाली होता है, उसे कभी जीवन में धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ता | साथ ही ऐसे व्यक्ति पर माँ लक्ष्मी की भी कृपा बनी रहती है |
यदि किसी व्यक्ति की हथेली में जीवन रेखा से निकलकर कोई रेखा गुरु पर्वत तक जाती है, तो ऐसा व्यक्ति जीवन में सभी सुखो को भोगता है |
यदि किसी व्यक्ति की हथेली में गुरु पर्वत पर वर्ग का निशान बना होता है | तो ऐसा व्यक्ति बड़ा ही भाग्यशाली होता है |
यदि किसी की हथेली में शनि पर्वत से निकल कर कोई रेखा शनि पर्वत पर जाकर मिलती है, तो ऐसा व्यक्ति खूब धनलाभ कमाता है | ऐसे व्यक्ति धन संचय में भी आगे होते है |
जिनकी अनामिका और मध्यमा अंगुली पर वर्ग का निशान बना होता है, तो ऐसे लोग बड़े ही भाग्यशाली होते है | इन्हे अपने जीवन में कभी धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ता है |
यदि हथेली में सूर्य पर्वत से निकली रेखा, हृदय रेखा और भाग्य रेखा मिलकर त्रिभुज बनाते है | तो इससे अचानक धनलाभ के योग बनते है |
जिनकी हथेली में जीवनरेखा के अंतिम छोर पर वर्गाकार आकृति बनती है, ऐसे लोग जीवन में खूब सफलता पाते है |
हस्तरेखा शास्त्र के अनुसार कनिष्ट और तर्जनी ऊँगली का बराबर होना, भाग्यशाली होने का प्रतीक होता है |
यदि किसी की हथेली में मणिबंध से निकली कोई रेखा सबसे छोटी अंगुली तक पहुंच रही हो, तो ये धन लाभ का संकेत होता है
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